आसनसोल में राजनीतिक महासंग्राम: ‘बिहारी बाबू’ बनाम भोजपुरी संगीत के सुपरस्टार
पश्चिम बंगाल की गलियों में राजनीतिक तूफान आने को है। आसनसोल, एक ऐसी सीट जो अब तक चुनावी मुकाबलों का गवाह बनती आई है, इस बार एक नई कहानी को जन्म देने जा रही है। यहाँ की जनता के सामने एक नई चुनौती है, जहाँ दो बिहारी शेर आमने-सामने होंगे।
एक ओर हैं शत्रुघ्न सिन्हा, जिन्हें ‘बिहारी बाबू’ के नाम से जाना जाता है। वर्तमान में टीएमसी के बैनर तले आसनसोल के सांसद, जिनकी गिनती राजनीति के दिग्गजों में की जाती है। उनके समर्थन में जनता ने पहले भी अपना विश्वास जताया है, और इस बार भी टीएमसी उन्हें दोबारा टिकट देने का मन बना चुकी है।
दूसरी ओर, राजनीतिक रणभूमि में नया चेहरा लेकर आई है भाजपा। उन्होंने भोजपुरी संगीत की दुनिया के सुपरस्टार, पवन सिंह को अपना योद्धा चुना है। पवन सिंह, जिनकी आवाज़ में वो जादू है जो लाखों दिलों को छू लेती है, अब वही जादू वो राजनीति में बिखेरने आ रहे हैं।
आसनसोल की सीट पर इस बार की लड़ाई सिर्फ एक सीट की नहीं, बल्कि दो विभिन्न पृष्ठभूमियों और व्यक्तित्वों के बीच की लड़ाई है। एक ओर है वर्षों का अनुभव और दूसरी ओर है नई ऊर्जा और उत्साह।
क्या शत्रुघ्न सिन्हा अपने अनुभव और चाहने वालों के बल पर इस बार भी विजयी होंगे? या फिर पवन सिंह अपनी नई सोच और जोश के साथ इस राजनीतिक मैदान में नया इतिहास रचेंगे? आसनसोल की जनता के सामने दोनों ही विकल्प हैं, और उनका निर्णय ही इस दिलचस्प मुकाबले का फैसला करेगा।